वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से जुड़ें जेल-कोर्ट: मोदी
modi इलाहाबाद हाईकोर्ट

पधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को इलाहाबाद हाईकोर्ट के 150 वीं एनिवर्सरी प्रोग्राम में शि‍रकत की। प्रोग्राम में डि‍प्टी सीएम केशव मौर्या, चीफ जस्टि‍स जीएस खेहर और यूपी के गवर्नर राम नाइक भी शामि‍ल हुए। मोदी ने कहा, \"मोबाइल SMS से तारीख मिलने की सुविधा मिलनी चाहिए। जेल को कोर्ट से जोड़ने से काफी फायदा होगा। जेल से कैदियों को लाने-ले जाने में काफी समय लगता है।

मोदी ने कहा, \"150 साल इस समारोह का आज समापन हो रहा है। लेकिन साल भर चला ये समारोह समापन के साथ नई ऊर्जा, नई प्रेरणा, नए संकल्प और नए भारत के सपने को पूरा करने की ताकत बन सकता है।\"भारत के न्याय विश्व में इलाहाबाद का 150 साल पुराना तीर्थक्षेत्र है। यहां आने को मैं अपना गौरव मानता हूं। चीफ जस्टिस साहब अपना अनुभव सुना रहे थे, मैं मन से सुन रहा था।मुझे यकीन है कि उनके संकल्प पूरे होंगे। जहां तक सरकार का सवाल है, जिस संकल्प को आप प्रेरित कर रहे हैं, हम उसे पूरा करने का प्रयास करेंगे।\"

मोदी ने कहा जब इलाहाबाद कोर्ट के 100 साल हुए थे, तब राष्ट्रपति राधाकृष्णन यहां आए थे। उन्होंने कहा था-कानून एक ऐसी चीज है, जो लगातार बदलती रहती है। कानून लोगों के स्वभाव और पारंपरिक मूल्यों के अनुकूल होना चाहिए। कानून को चुनौतियों का ध्यान रखना चाहिए। किस तरह की जिंदगी हम गुजारना चाहते हैं, कानून का क्या कहना है। कानून का लक्ष्य है- हर नागरिक का कल्याण। केवल अमीर का ही नहीं। इसे ही पूरा किया जाना चाहिए।गांधीजी कहते थे कि हम कोई भी निर्णय करें तो इसकी कसौटी क्या हो। वे कहते थे कि अगर फैसला लेने में दुविधा हो तो सोचिए कि आखिरी छोर पर बैठे शख्स पर इसका असर क्या होगा। आप सही फैसला ले पाएंगे।\"

मोदी ने कहा, \"गांधीजी ने आजादी के वक्त लोगों की उनकी क्षमता के हिसाब से ढाल दिया था। वकीलों का भी इसमें योगदान रहा है। गांधीजी ने आजादी का जज्बा जगाया। 2022 में आजादी के 75 साल हो रहे हैं। क्या इलाहाबाद से देश को प्रेरणा मिल सकती है। क्या हम कोई रोडमैप तय कर सकते हैं। मुझे नहीं लगता कि लोग ऐसा नहीं कर सकते। 2022 में हम गांधीजी-राधाकृष्णन के मूल्यों पर देश को आगे ले जा सकते हैं। मुझे उम्मीद है कि देश के सवा सौ करोड़ लोगों का सपना देश को सवा सौ करोड़ कदम आगे ले जा सकता है।\"

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा पहले मैंने कहा था- कि मुझे ये तो नहीं पता कि कितने कानून बनाऊंगा लेकिन रोज एक कानून खत्म करूंगा। अब तक 1200 कानून खत्म कर दिए हैं।

उन्होंने कहा टेक्नोलॉजी से जीवन आसान हो गया है। कौन से केस में क्या फैसला हुआ, गूगल गुरु में सब देखा जा सकता है।मोबाइल SMS से तारीख मिलने की सुविधा मिलनी चाहिए। जेल को कोर्ट से जोड़ने से काफी फायदा होगा। जेल से कैदियों को लाने-ले जाने में काफी समय लगता है। योगी जी आए हैं, उम्मीद है इस दिशा में कुछ करेंगे।

यूपी के मुख्यमंत्री योगी ने कहा, \"कानून शासकों का भी शासक होता है। उससे ऊपर कोई नहीं है।न्यायपालिका की भूमिका अहम है। न्यायपालिका और कार्यपालिका के बीच शक्तियों का अलग होना जरूरी है। न्याय, न्याय प्रक्रिया पर विद्वानों का चिंतन हमारा मार्गदर्शन करने में सक्षम है। हमेशा से न्यायपालिका, विधायिका एक-दूसरे के पूरक रहे हैं।ये गौरव का विषय है कि मनीषियों ने इलाहाबाद हाईकोर्ट ने हमेशा मार्गदर्शन किया है। माननीय न्यायपालिका ने ऐसे ऐतिहासिक फैसले लिए जिन्होंने देश की दिशा बदली। इलाहाबाद हाईकोर्ट में 9 लाख मामले हैं। जब कोर्ट की स्थापना हुई थी तो 6 जज थे। अब यहां 160 जज हैं।