रायसेन : किले के महादेव मंदिर में जलाभिषेक नहीं कर सकी उमा
Raisen, Uma , not perform Jalabhishek , Mahadev temple

रायसेन। मप्र की पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती सोमवार को गंगोत्री का जल लेकर रायसेन किले के महादेव मंदिर में जलाभिषेक करने पहुंची, हालांकि केंद्रीय पुरातत्व विभाग से ताला खोलने की अनुमति नहीं मिली। जिसके बाद उमा भारती ने रायसेन किला मंदिर का ताला खुलने तक अन्न त्याग करने की बात कही और शिव मंदिर के गर्भगृह के बंद दरवाजे के बाहर से ही पूजन किया।

रायसेन किला के शिव मंदिर में जलाभिषेक करने पहुंची उमा भारती के समर्थकों को किला के पहुंच मार्ग पर डेढ किमी दूर वेरीकेड्स लगकर रोक दिया। जिससे समर्थको में आक्रोश देखा गया। प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी हुई। भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण की ओर से मंदिर का ताला नहीं खोले जाने पर उमा भारती ने बाहर से मंदिर में जल चढ़ाया और कहा कि उन्हें यह नहीं पता था कि वास्तव में किस तरह की दिक्कत ताला नहीं खुलने के पीछे है। उनके जलाभिषेक का दिन तय होने के बाद जिला प्रशासन और राज्य शासन ने पुरातत्व विभाग को पत्र लिखा है। शासन ने इस मामले में अपने स्तर पर कार्यवाही की है। इसलिए वे पुरातत्व विभाग के निर्णय का इंतजार करेंगी और आज यहां गंगोत्री से लाया गया जल प्रशासन को सौंपकर जा रही हैं। इसके बाद उन्होंने घोषणा की कि वे मंदिर का ताला नहीं खुलने तक अन्न ग्रहण नहीं करेंगी। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि वे ताला खुलवाने के लिए कोई प्रयास नहीं करेंगीं। यह राज्य सरकार का काम है। उमा ने कहा कि सुरक्षा के कारणों से अभी पुरातत्व विभाग ताला लगाए हुए है। यहां विवाद की कोई बात नहीं है। केंद्रीय प्रक्रिया जब पूरी हो जाएगी तब वे मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के साथ यहां आकर शिव जी का गंगोत्री से लाये जल से जलाभिषेक करेंगी।

उमा भारती ने गंगोत्री से लाया गया गंगाजल से भरा कंटेनर रायसेन कलेक्टर अरविन्द दुबे की सुपुर्दगी में दिया है और कहा है कि इसे संभाल कर रखें। उन्होंने कहा कि यहां होने वाला जलाभिषेक सीएम शिवराज सिंह चौहान द्वारा आज से शुरू किए गए जलाभिषेक अभियान का ही हिस्सा था। वे भगवान का जलाभिषेक करना चाहती थीं। उनका कहना है कि वे अन्न का त्याग सिर्फ भावना व श्रद्धा से कर रही हैं। इसका अर्थ राज्य व केंद्र सरकार पर दबाव बनाना नहीं माना जाए। प्रक्रिया के तहत जब ताला खुलेगा तब वे अपने भाई सीएम शिवराज के साथ आकर मंदिर के टिक्कड़ बनवाकर खाएंगी।

बता दें, रायसेन के किले स्थित शिव मंदिर का मामला पिछले दिनों उस समय सुर्खियों में आ गया, जब सीहोर के कथावाचक पंडित प्रदीप मिश्रा ने रायसेन जिले में एक कथा करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री चौहान के राज्य में रायसेन में शिव शंकर कैद में हैं। उन्होंने सरकार से इस मंदिर को तुरंत खोले जाने की मांग भी की। इस के बाद ही उमा भारती ने सोमवार 11 अप्रैल को जलाभिषेक करने की घोषणा की थी।