प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को यूपी के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव और समाजवादी सरकार पर जमकर निशाना साधा। गाजियाबाद में आज एक रैली को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि जब अखिलेश मुख्यमंत्री बने तो हमने सोचा कि वह युवा और पढ़े-लिखे हैं और कुछ हासिल करेंगे लेकिन पांच वर्षों में उत्तर प्रदेश तबाह हो गया।
उन्होंने कहा कि जब अखिलेश राज्य की सत्ता में आया तो लगा कि पढ़ा-लिखा आदमी आया है, काम करेगा। कुछ अच्छा करने की कोशिश करेगा लेकिन निराश कर दिया। अखिलेश ने 5 साल निराश किया और यूपी का विनाश किया। पीएम ने कहा कि यूपी में बेईमानी, भ्रष्टाचार की बहार है। भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ाई में यूपी सरकार ने साथ तक नहीं दिया। यूपी सरकार ने सीएजी ऑडिट कराने से भी इनकार कर दिया।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि राज्य में गुंडों को आश्रय दिया जाता है इसलिए यहां की महिलाएं असुरक्षित महसूस करती हैं। बच्चियां स्कूल जाने से डरती है। आपकी पार्टी (सपा) ने गुंडों को पाल रखा है और यूपी का हाल बदहाल कर रखा है।
पीएम ने कहा कि अखिलेश जी आपने पिताजी का क्या किया। चाचाजी का क्या किया। बहुओं, भतीजों, भाइयों का क्या किया। वो जनता जानती है। 2019 का चुनाव आएगा तो सामने से आकर हिसाब दूंगा। लेकिन सपा सरकार बताए कि उसने यूपी में पांच साल तक क्या किया। कौन से विकास के काम किए। कांग्रेस पर निशाना साधते हुए पीएम ने कहा कि अखिलेश इतना डरे हुए हैं कि जो मिला गले लगा लिया। भला डूबती नाव में कोई पांव रखता है क्या।
उन्होंने कहा कि आजकल मैं जो भाषण सुन रहा हूं, उसमें दस मिनट दिल्ली सरकार को गाली देते हैं। लेकिन पांच मिनट इसमें से जरा अपना हिसाब भी तो दे दें। लोगों से अपील की कि सही सरकार चुनें और उत्तर प्रदेश को उत्तम प्रदेश बनाएं। यदि सही सरकार बने तो यूपी देश का उत्तम प्रदेश बन सकता है। यदि भ्रष्टाचार हटाना है तो यूपी से इस सरकार को हटानी होगी।
उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के प्रथम चरण में पश्चिमी उत्तर प्रदेश के 15 जिलों की 73 सीटों के लिए प्रचार का शोर गुरुवार शाम थम जाएगा। इन सीटों के लिए 11 फरवरी को मतदान होना है। मुस्लिम बहुल इस इलाके में लगभग तीन साल पहले दंगों का दंश झेल चुके मुजफ्फरनगर और शामली जैसे क्षेत्र शामिल हैं। वर्ष 2012 में हुए विधानसभा चुनाव में इस चरण की 73 में से भाजपा को केवल 11 सीटें मिली थी, मगर दो साल बाद 2014 में हुए लोकसभा चुनाव में इस पार्टी ने इस अंचल की सभी लोकसभा सीटों पर अपना परचम फहराया था। लोकसभा चुनाव में भाजपा ने अपने सहयोगी अपना दल के साथ प्रदेश की 80 में से 73 सीटें जीती थीं।