कैग ने कहा गुजरात में लगातार हो रही मातृ मृत्यु दर में वृद्धि
 नियंत्रक और महालेखा परीक्षक (कैग)

 

गुजरात में पिछले तीन वर्षों में मातृ मृत्यु दर में बढ़ोतरी दर्ज की गई है, लेकिन शिशु व नवजात मृत्यु दर में गिरावट आई है। नियंत्रक और महालेखा परीक्षक (कैग) की रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है।

मार्च 2016 में समाप्त हो हुए वर्ष की सामान्य और सामाजिक क्षेत्र की यह रिपोर्ट शुक्रवार को विधानसभा के पटल पर रखी गई। इसके मुताबिक, एक लाख जीवित बच्चों के जन्म पर मातृ मृत्यु दर 2013-14 में 72, 2014-15 में 80 और 2015-16 में 85 थी।

राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन के तहत मार्च 2017 तक इस दर को घटाकर 67 तक लाने का लक्ष्य था। खास बात यह है कि वलसाड (94), दाहोद (93) और सूरत (89) जिलों में तो यह दर राज्य के औसत से भी ज्यादा थी।

कैग का मानना है कि जननी शिशु सुरक्षा कार्यक्रम से इस दिशा में कोई मदद नहीं मिल सकी। केंद्र सरकार ने यह कार्यक्रम 2011 में गर्भवती महिलाओं और बीमार नवजातों को निःशुल्क स्वास्थ्य सुविधाएं प्रदान करने के उद्देश्य से शुरू किया था।