भगवान श्रीराम भारत की पहचान है
भगवान श्रीराम भारत की पहचान है
कंबोडिया के कलादल द्वारा रामायण की सम्मोहक प्रस्तुति मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि भगवान राम भारत की प्राण शक्ति है। भगवान राम भारत की सांस्कृतिक पहचान है। उन्होंने कहा कि आज भी भारत के आम जन रामायण से ही नैतिक शिक्षा लेते है। लोगों को रामायण की चौपाईयां कंठस्थ हैं। श्री चौहान ने कहा कि रामायण का न सिर्फ भारतीय बल्कि पूरे विश्व विशेष रूप से दक्षिण एशिया के जनमानस पर गहरा प्रभाव है। श्री चौहान भारत भवन में अंतर्राष्ट्रीय रामायण मेले की श्रृंखला में कम्बोडिया देश के कलादल की प्रस्तुति के पूर्व रामायण प्रेमी दर्शकों को संबोधित कर रहे थे। इस श्रंखला का आयोजन भारतीय सांस्कृतिक सम्बन्ध परिषद् द्वारा किया गया है।श्री चौहान ने अंतर्राष्ट्रीय रामायण मेला आयोजित करने की पहल के लिये परिषद सराहना की। उन्होंने बताया कि कम्बोडिया में अंकोर वाट मंदिर में भारतीय संस्कृति की विराटता के दर्शन करने जाने वालो को प्रदेश सरकार यात्रा का आधा खर्च वहन करती है। उल्लेखनीय है की अंकोर वाट के विश्व प्रसिद्ध मंदिर भगवान विष्णु को समर्पित है। इनकी भीतरी दीवारो पर रामायण के प्रसंगों को उकेरा गया है। उन्होने कहा कि अब भारत भवन में विदेशी कलाकारों की भी प्रस्तुतियां होंगी।केंद्रीय विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने कहा कि रामायण मानवता का ग्रन्थ है। उन्होंने कहा की रामायण दुनिया के देशो को जोड़ने वाला ग्रन्थ है। यह सम्पूर्ण मानवता का मार्गदर्शक है। उन्होंने कहा की कम्बोडिया में अंकोर वाट के मंदिर परिसर पर आधारित प्रदर्शनी भोपाल में लगाई जायेगी। भोपाल को देश की सांस्कृतिक राजधानी बताते हुए उन्होने विभिन्न देशों में रामयण की व्यापकता और विस्तार की चर्चा की। उन्होने बताया कि दक्षिण कोरिया में आठ लाख लोगों की आबादी मानती है कि उनके पुरखे अयोध्या के रहने वाले थे। मारीशस में सेंटर आफ रामायण बनाया जा गया है।परिषद के अध्यक्ष सतीश चंद्र मेहता ने आयोजित अंतर्राष्ट्रीय रामायण मेले की श्रंखला के आयोजन के सम्बन्ध में जानकारी देते हुए बताया कि परिषद् ने दिल्ली मे 23 से 27 फरवरी तक आयोजित किया था। परिषद् ने सांस्कृतिक आयोजनों का विकेंद्रीकरण किया है। देश के बारह शहरों में सात देशों की रामायण प्रस्तुतियां हो रही हैं। इस श्रंखला में भोपाल को चुना गया है। कंबोडिया के कलाकारों ने रामायण के प्रसंगों की भावनात्मक प्रस्तुति दी।इस अवसर पर राजस्व मंत्री राम पाल सिंह प्रमुख सचिव मनोज श्रीवास्तव और बड़ी संख्या में संस्कृति प्रेमी उपस्थित थे।