अमित बागलीकर
मालेगांव ब्लास्ट में आरोपी साध्वी प्रज्ञा भारती ने न्यायालय में सिंहस्थ में आने की अपील करी थी जिसे न्यायालय ने स्वीकार करा जिस पर वे 18 मई को उज्जैन सिंहस्थ मेला प्रांगण के जयवंदे मातरम आश्रम पर आई जहां पत्रकारों के समक्ष उन्होनें अपनी आप बीती तो सुनाई साथ ही म.प्र. सरकार की आलोचना की और कहा मैं बहुत पीडि़त और तकलीफ में हूं हर पल मैं बीमार रहती हूँ मेरी स्थिती ऐसी नहीं थी की मैं आमरण अनशन कर सकूं मुझे मजबूर किया गया जिस पर मुझे आमरण अनशन पर बैठना पड़ा इसका परिणाम शिवराज सिंह चौहान को भुगतना पड़ेगा। जो पूर्ण रूप से हिन्दू है और जिनका शुद्ध रक्त हिन्दू है वो मेरा समर्थन करेंगे, अन्यथा जिनमें मिलावट है समर्थन नहीं करेंगे।
साध्वी प्रज्ञा ने कहा गली कूचों की राजनीति सन्यासी नहीं करते ,सन्यासी तो दण्डनीति करते हैं। जो अब वे कर रही हैं। मोदी राष्ट्रवादी नेता हैं, जिन लोगों की वजह से लगातार 8 वर्ष का कारावास मुझे भुगतना पड़ा है मुझे निरप्राध दंड दिया है ,जिन्होंने यह सब किया है उन्हें मैं बाहर निकलकर दंड दिलवाऊंगी। मैं मीडिया का सम्मान करती हूँ , जिन्होनें मेरा अभी तक समर्थन किया वो है मीडिया चौथा स्तंभ है, जो बहुत महत्वपूर्ण है। सिंहस्थ में चल रहे आयोजन को देखूंगी लोग मुझे देखेंगे मैं लोगों को देखूंगी।
देश के बड़े अपराध से जूझ रही साध्वी प्रज्ञा भारती ने मीडिया से मुख्यमंत्री शिवराज सिंह की आलोचना कर कहा की मुझे शिवराज ने मजबूर किया जिसके कारण मुझे अनशन पर बैठना पड़ा शिवराज को भुगतना पड़ेगा। न्यायालय का सम्मान करती हूं व नियमों का पालन करूंगी। सरकार ने मदद नहीं की सरकार को कोर्ट ने आदेश दिया की मुझे सिंहस्थ में लेकर जाया जाये जिस पर मैं सिंहस्थ दर्शन करने आई हूं। मेरा विरोध कानून तोडऩे वालों से है। इस प्रकार से अपनी बातों को साफ कर साध्वी प्रज्ञा भारती ने अपनी और से विरोध किया।
साध्वी प्रज्ञा भारती के उज्जैन आने की खबर जैसे ही पुलिस विभाग को लगी उनके समस्त आला अधिकारी सिंहस्थ की व्यवस्था को छोड़ साध्वी की सेवा में लग गये जिसमें 9 पुलिस अधीक्षक, 1 अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक, 4 नगर पुलिस अधीक्षक, 2 थाना प्रभारी, के साथ भारी पुलिस बल तैनात था जिसको लेकर पुलिस विभाग की सक्रियता दिखाई दी। पुलिस बल के साथ एम्बुलेंस व अन्य प्रशासनीक व्यवस्थाओं का अमला मौजूद स्नान घाट तक मौजूद था। शिव कटघरे में....
भगवान शिव महांकाल की पावन नगरी में मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान को साध्वी ने आरोपियों के कटघरे में लेते हुए कह ही दिया की शिव की नगरी में शिवराज को भुगतना पड़ेगा जिसने मुझ प्रताडि़ता को अनशन करने पर मजूबर किया।
दंड दिलवाऊंगी.....
मैंने जो सहा है वो निरप्राध दंड था जिसे मुझे मिली सजा होने के बाद लोग नहीं भूले नहीं है। मेरे ठाकुर जी ने फल दे ही दिया है और जो इस दंड के असल हकदार हैं उन्हें दंड मैं बाहर आकर दिलवाऊंगी।
सिंहस्थ को लेकर यातायात व्यवस्था आंरभ में चरमरा गई थी जिसके फलस्वरूप सिंहस्थ को मात्र दो ही दिन बीते थे की पुन: भोपाल में यातायात व्यवस्था की बैठक मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने ली थी उसके बावजूद जब मंगलवार को साध्वी जब मेला स्थल पर पंहुची तो यातायात व्यवस्था की लचीली प्रणाली में खुद साध्वी काफी देर तक फंसी रही स्नान करने के लिये घाट तक जाम लगने से देर शाम उन्हें हो गई। जिस पर साध्वी ने अपना गुस्सा कुछ पी लिया मगर लचर प्रणाली की आलोचना करने से इनके साथ आये लोग भी नहीं चुके।