संघ के चिंतन में संगठन मंत्रियों की चिंता
राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की चार दिवसीय चिंतन बैठक 26 अगस्त से ग्वालियर में शुरू हो रही है। बैठक में देशभर से संघ के चार सौ से अधिक प्रचारक और केन्द्रीय व प्रांतीय पदाधिकारी हिस्सा लेंगे। बैठक में संघ से भाजपा में आने वाले संगठन मंत्रियों की भूमिका पर नए सिरे से विचार किया जाएगा। इसके अलावा संघ से सेवा कार्यो और शाखाओं के विस्तार पर भी मंथन किया जाएगा।
राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ से निकलकर भाजपा का काम देखने वाले संभागीय और विभागीय संगठन मंत्रियों का भविष्य क्या होगा, यह संघ की ग्वालियर में होने वाली चिंतन बैठक में तय किया जाएगा। 26 अगस्त से शुरू होने वाली इस चार दिनी चिंतन बैठक में संघ के सर कार्यवाह सुरेश भैया जी जोशी समेत अनेक पदाधिकारी मौजूद रहेंगे। बैठक में देशभर के चार सौ से अधिक प्रचारकों को बुलाया गया है। बैठक के अंतिम दिन संघ के सरसंघ चालक मोहन भागवत के भी मौजूद रहने की संभावनाा है।
भाजपा में सालभर पहले तक जिले, विभाग और संभाग में संगठन मंत्री हुआ करते थे, पर सालभर पहले संघ ने इस व्यवस्था में बदलाव करते हुए जिलों और विभाग से संगठन मंत्रियों की छुट्टी कर दी थी। इतना ही नहीं पांच संभागों को छोड़कर शेष संभागों से भी संभागीय संगठन मंत्रियों को कार्यमुक्त कर दिया था। संघ के इस निर्णय से संघ के ही कुछ पदाधिकारी सहमत नहीं है। उनका तर्क है कि संगठन मंत्री की व्यवस्था खत्म से संघ की भाजपा पर पकड़ कमजोर हो रही है। ग्वालियर में होने वाली चिंतन बैठक में संगठन मंत्रियों के नए सिरे से दायित्वों पर विचार किया जाना है। फिलहाल संघ ने प्रांतस्तर पर संगठन मंत्रियों की तैनाती का प्लान तैयार किया है पर इस पर अब तक पूरी तरह अमल नहीं हो पाया है। अब फिर से संभागों में संगठन मंत्रियों की तैनाती पर विचार किया जा रहा है।
ग्वालियर के आईपीएस कालेज परिसर में होने वाली इस चार दिवसीय बैठक में संघ और उसके अनुषांगिक संगठनों द्वारा चलाए जा रहे सेवा कार्यो की भी समीक्षा होनी है। संघ इस समय पूरे देश में विभिन्न प्रकार के एक लाख 52 हजार 388 सेवा कार्य चला रहा है। संघ ने पूरे देश को 54 हजार मंडलों में विभाजित किया है, जिसमें से तीन हजार मंडलों में उसके काम चल रहे हैं। बैठक में संघ की शाखाओं के विस्तार पर भी बात होगी। संघ की इस समय पूरे देश के 33 हजार 222 स्थानों पर 51 हजार 330 से अधिक शाखाएं संचालित हो रही है। मध्यप्रदेश में इस समय संघ की चार सौ से अधिक स्थानों पर 6 हजार 321 शाखाएं संचालित हो रही है।