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भोपाल। केन्द्र सरकार द्वारा भारत में चीता प्रोजेक्ट के तहत नामीबिया और दक्षिण अफ्रीका से लाकर मध्य प्रदेश के कूनो राष्ट्रीय उद्यान में बसाए गए चीतों की मौत का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा है। इसी क्रम में बुधवार को कूनो में एक और मादा चीता `धात्री' (टिबलिसी) की मौत हो गई है। प्रदेश के प्रधान मुख्य वन संरक्षक असीम श्रीवास्तव ने इसकी पुष्टि की है।
उन्होंने बताया कि मादा चीता 'धात्री' की लोकेशन पिछले दो दिनों से जंगल में नहीं मिल रही थी। बुधवार सुबह कूनो के जंगल में वह मृत पाई गई। उसकी मौत कैसे हुई, फिलहाल उसकी जानकारी नहीं मिल पाई है। मौत की वजह पता लगाने के लिए पोस्टमॉर्टम कराया जा रहा है।'
कूनो में बीते चार माह में नौ चीतों (छह वयस्क और तीन शावक ) की मौत हो चुकी है। अब यहां 14 चीता और एक शावक जीवित हैं, जिसमें से एक चीता नीर्वा जंगल में है, उसकी भी कालर आईडी खराब होने से ट्रेकिंग में परेशानी आ रही है।
कूनो प्रबंधन ने बुधवार को प्रेस नोट जारी करते हुए बताया कि 'कूनो राष्ट्रीय उद्यान के बाड़े में रखे गए 14 चीते (सात नर, छह मादा और एक शावक) स्वस्थ हैं। कूनो और नामीबिया के वन्यप्राणी विशेषज्ञ लगातार उनका स्वास्थ्य परीक्षण कर रहे हैं। इनके अलावा खुले जंगल में घूम रहीं दो मादा चीतों पर निगरानी रखी जा रही है और उनको बाड़े में लाने के प्रयास जारी हैं। इन दोनों में से एक मादा चीता धात्री (टिबलिसी) बुधवार सुबह मृत पाई गई है। मृत्यु के कारणों का पता लगाने के लिए पोस्टमॉर्टम कराया जा रहा है।
उल्लेखनीय है कि कूनो नेशनल पार्क में पहली खेप में नामीबिया से आठ चीते लाए गए थे, जिन्हें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अपने जन्मदिन के मौके पर 17 सितम्बर 2022 को यहां के बाड़ों में रिलीज किया था। इसके बाद दक्षिण अफ्रीका से यहां आठ चीते लाए गए थे। इसके अलावा नामीबिया से लाई गई एक मादा चीता ने यहां चार शावकों को जन्म दिया। इस तरह कूनों में कुल 24 चीते हो गए थे। करीब चार माह पहले 26 मार्च को यहां एक चीते की मौत हुई थी। इसके बाद अब तक कुल नौ चीतों की मौत हो चुकी है, जिनमें तीन शावक भी शामिल हैं।
MadhyaBharat
2 August 2023
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