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रेपो दर बढ़कर पांच दशमलव नौ प्रतिशत हुआ
भारतीय रिजर्व बैंक की मौद्रिक नीति समिति ने नीतिगत ब्याज दर रेपो दर में आधा प्रतिशत की वृद्धि करने का फैसला किया है। इसके साथ ही रेपो दर बढ़कर पांच दशमलव नौ प्रतिशत हो गया है। रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा कि समिति ने छह सदस्यों में से पांच सदस्यों के बहुमत से रेपो दर बढ़ाने का फैसला किया है। इसी तरह स्थायी जमा सुविधा यानी स्टैंडिंग डिपोजिट फैसलिटी दर को पांच दशमलव छह-पांच प्रतिशत और सीमांत स्थायी सुविधा यानी मार्जिनल स्टैंडिंग फैसलिटी दर को छह दशमलव एक-पांच प्रतिशत पर समायोजित किया गया है। समिति ने मुद्रास्फीति को नियंत्रण में रखने के लिए उदार रूख को वापिस लेने पर कायम रहने का भी फैसला किया है।
रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने सकल घरेलू उत्पाद की वृद्धि दर सात प्रतिशत रहने का अनुमान व्यक्त किया है। इससे पहले, रिजर्व बैंक ने सकल घरेलू उत्पाद की वृद्धि दर सात दशमलव दो प्रतिशत रहने का अनुमान व्यक्त किया था। मौजूदा वित्त वर्ष में 2022-23 में अन्य प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले अमरीकी डॉलर 14 दशमलव पांच प्रतिशत मजबूत हुआ है। रिजर्व बैंक के गवर्नर ने कहा कि इसकी वजह से अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा बाजार में उथल-पुथल मची हुई है। अन्य मुद्राओं के मुकाबले भारतीय रुपया व्यवस्थित है। इसी अवधि में डॉलर के मुकाबले रुपया सात दशमलव चार प्रतिशत कमजोर हुआ है। उभरती बाजार अर्थव्यवस्थाओं और एशियाई देशों के मुकाबले भारतीय रुपया बेहतर स्थिति में है।
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