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अहमदाबाद। गुजरात में प्रतियोगी परीक्षाओं में प्रश्नपत्र लीक करने वालों पर शिकंजा कसा जाएगा। सरकार कड़े कानून लाने की तैयारी कर रही है। 15वीं विधानसभा के आगामी बजट सत्र में सरकार इसके लिए बिल पेश कर सकती है। इसमें परीक्षा में कदाचार करने वालों को तीन साल की सजा और एक लाख रुपये का जुर्माना के अलावा प्रश्नपत्र लीक करने वालों पर एक करोड़ रुपये का जुर्माना और दस साल की सजा का प्रावधान किया जा सकता है। बिल की कॉपी विधायकों को उपलब्ध कराकर इस पर मंथन शुरू कर दिया गया है।
गुजरात में पिछले कुछ सालों में लगातार प्रतियोगी परीक्षाओं के प्रश्नपत्र लीक होने के मामले सामने आए थे। इन मामलों को सरकार ने गंभीरता से लिया और राज्य में सख्त कानून बनाने की घोषणा की थी। अब दिशा में सरकार ने कदम बढ़ा दिया है। प्रस्तावित बिल की कॉपी विधायकों को देकर इस पर मंथन शुरू करने को कहा गया है। माना जा रहा है कि विधानसभा के सदन में गुजरात सार्वजनिक परीक्षा विधेयक 2023 पेश किया जा सकता है। इसके जरिए परीक्षाओं में होने वाली गड़बड़ियों पर सख्ती से निपटा जाएगा। इस बिल में कदाचार करने वाले परीक्षार्थियों और संलिप्त सरकारी कर्मचारियों के लिए तीन साल की सजा और एक लाख रुपये के दंड का प्रावधान किया गया है। भर्ती बोर्ड के जिम्मेदार व्यक्ति की मामले में संलिप्तता पाए जाने पर 5-10 साल की सजा और 10 लाख रुपये से लेकर एक करोड़ रुपये का जुर्माने की सजा का प्रावधान किया जा सकता है।
जानकारी के मुताबिक अगले सत्र में राज्य के गृह राज्य मंत्री हर्ष संघवी सदन में यह बिल पेश करेंगे। परीक्षा में प्रश्नपत्र लीक के जरिए कदाचार करने वाले विद्यार्थी को 2 साल के लिए परीक्षा से अलग रखा जाएगा। बिल में 23 प्रकार के प्रावधानों के साथ आरोपितों पर शिकंजा कसने की तैयारी की गई है।
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