Since: 23-09-2009
दंतेवाड़ा। बस्तर संभाग में अप्रैल 2021 में छत्तीसगढ़ के बीजापुर और सुकमा के सीमा क्षेत्र में हुए नक्सली हमले में 22 सुरक्षाकर्मी बलिदान हो गए थे, जबकि कई जवान घायल भी हुए थे। इसके दो वर्ष के बाद बुधवार (26 अप्रैल) को छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा में नक्सलियों ने एक बार फिर हमला कर दिया। इस बार नक्सलियों के आईईडी ब्लास्ट करने से डीआरजी (डिस्ट्रिक्ट रिजर्व गार्ड) के 10 जवान बलिदान हो गए। साथ ही एक वाहन चालक भी मारा गया। दो साल बाद इसे सबसे बड़ा नक्सली हमला माना जा रहा है।
ऐसा पहली बार नहीं हुआ, जब नक्सलियों के हमले में इतनी बड़ी तादाद में जवानों का बलिदान हुआ है। छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित इलाकों में बीते 13 सालों में ऐसे ही कई बड़े हमले हो चुके हैं। जानते हैं इन्हीं कुछ बड़े हमलों के बारे में-
- छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा में सबसे बड़ा नक्सली हमला 06 अप्रैल 2010 को हुआ था। इसमें 76 जवान बलिदान हो गए थे।
- 25 मई 2013 जीरम घाटी में हमला हुआ था। उस दौरान नक्सलियों ने एक परिवर्तन यात्रा पर हमला कर दिया था, जिसमें कांग्रेस के शीर्ष नेताओं सहित 30 से ज्यादा लोग मारे गए थे।
- 11 मार्च 2014 को एक बार फिर जीरम घाटी पर हमला हुआ था, जिसमें 14 जवानों ने अपना बलिदान दिया था।
- 12 अप्रैल 2014 को बस्तर में नक्सली हमला हुआ था, जिसमें पांच जवानों समेत 14 लोगों की मौत हो गई थी।
- अप्रैल 2015 में छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा में नक्सलियों के बिछाए बारुदी सुरंग के फटने से सुरक्षा बल के चार जवानों ने बलिदान दिया, जबकि आठ घायल हो गए थे।
- मार्च 2017 में दंतेवाड़ा में लैंडमाइन ब्लास्ट में सीआरपीएफ के सात जवान बलिदान हो गए।
- 11 मार्च 2017 को नक्सलियों ने सीआरपीएफ की 219वीं बटालियन को निशाना बनाया था, जिसमें 12 जवानों ने अपना बलिदान दिया था।
- अप्रैल 2017 को हुए नक्सली हमले में सीआरपीएफ के 25 जवानों ने बलिदान दिया था।
- मार्च 2020 में सुकमा में हुए नक्सली हमले में डीआरजी-एसटीएफ के 17 जवान बलिदान हो गए थे और करीब 14 जवान घायल हुए थे।
- अप्रैल 2021 में बीजापुर और सुकमा बॉर्डर पर हुए नक्सली हमले में 22 सुरक्षाकर्मियों ने अपना बलिदान दिया था, जबकि कई जवान घायल भी हुए थे।
- इस साल 26 अप्रैल को हुए हमले में डीआरजी के 10 जवान बलिदान हो गए। साथ ही एक वाहन चालक भी मारा गया।
MadhyaBharat
|
All Rights Reserved ©2025 MadhyaBharat News.
Created By:
Medha Innovation & Development |