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नई दिल्ली । भारत ने इजराइल और ईरान के बीच बढ़ते तनाव के संबंध में बुधवार को कहा कि हम पश्चिम एशिया में सुरक्षा स्थिति के बिगड़ने पर चिंतित हैं। भारत ने सभी संबंधित पक्षों से संयम बरतने और नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने को कहा है।
विदेश मंत्रालय ने एक वक्तव्य में कहा कि यह जरूरी है कि मौजूदा संघर्ष व्यापक क्षेत्रीय रूप अख्तियार न करे। भारत ने सभी मुद्दों को विचार-विमर्श और कुटनीति के जरिए हल किए जाने पर जोर दिया है।
बयान में इजराइल पर ईरान के मिसाइल हमले और उसके पहले के घटनाक्रम का सीधे रूप से उल्लेख नहीं किया गया है। इसमें किसी पक्ष की सीधे रूप से आलोचना भी नहीं की गई है।
इससे पहले भारत सरकार ने परामर्श जारी कर नागरिकों को ईरान की गैर-जरूरी यात्रा नहीं करने की सलाह दी है। साथ ही ईरान में रह रहे भारतीयों को परिस्थिति को लेकर सजग रहने को कहा गया है।
ईरान के इजराइल पर किए गए हमले और मध्यपूर्व में कई मोर्चों पर संघर्ष कर रहे यहूदी देश की चेतावनी को देखते हुए यह परामर्श जारी किया गया है। विदेश मंत्रालय का कहना है कि भारत क्षेत्र के सुरक्षा हालात में हालिया तनाव पर करीब से नजर रखे हुए है।
इसी बीच विदेश मंत्री डॉ. जयशंकर ने मध्य पूर्व में इज़राइल और ईरान के बीच तनाव की बढ़ती स्थिति पर चिंता व्यक्त की है। साथ ही उन्होंने सभी से इसके वैश्विक प्रभावों पर विचार करने की अपील की है। उन्होंने चिंता जताई की यह तनाव संघर्ष को व्यापक रूप दे सकता है।
वाशिंगटन में एक थिंक टैंक के साथ बातचीत के दौरान उन्होंने कहा कि हम संघर्ष के बढ़ने की आशंका को लेकर चिंतित हैं। आतंकी हमले के बाद इज़राइल का जवाब ज़रूरी था लेकिन किसी भी देश को प्रतिक्रिया देते समय अंतरराष्ट्रीय मानवीय कानून को ध्यान में रखना चाहिए। उसे नागरिकों को होने वाली क्षति या प्रभाव के बारे में सावधान रहना चाहिए।
उल्लेखनीय है कि बीती रात ईरान ने इजराइल में बड़ी संख्या में बैलस्टिक मिसाइल दागी हैं। इनमें से कई अपने निशाने पर भी लगी हैं। नुकसान की अभी स्पष्ट जानकारी नहीं है। इजराइल ने इस हमले के खिलाफ ईरान को चेतावनी दी है। दुनिया के कई देशों ने ईरान के हमले की निंदा की है।
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