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भोपाल । राजधानी भाेपाल के अयाेध्या थाना क्षेत्र स्थित जिंदल अस्पताल में घुटने के इलाज के लिए भर्ती युवती की शुक्रवार सुबह माैत हाे गई। गुरुवार काे उसका घुटने का ऑपरेशन हुआ था, जिसके बाद से ही उसकी तबीयत बिगड़ने लगी थी। परिजनों का आरोप है कि अस्पताल प्रबंधन ने समय पर ध्यान नहीं दिया। जिसके चलते उसकी जान चली गई। परिवार ने दवा का ओवर डोज देने और लापरवाही करने का आरोप भी लगाया है। पुलिस ने मामले में मर्ग कायम कर जांच शुरू कर दी है।
जानकारी के मुताबिक, बैरसिया राेड स्थित विकास नगर कॉलोनी निवासी मृतका शालू यादव (24) काे घुटने की परेशानी के चलते एक दिन पहले गुरुवार काे अस्पताल में भर्ती कराया गया था। परिजनों के मुताबिक, गुरुवार को सुबह 11 बजे उसे भर्ती किया गया और शाम 5 बजे ऑपरेशन किया गया। इसके बाद उसे आईसीयू में शिफ्ट किया था। शालू के भाई नीतेश यादव ने बताया कि ऑपरेशन के बाद बहन ने पेट दर्द की शिकायत की थी, जिसे उन्होंने ड्यूटी पर मौजूद स्टाफ को बताया। उनका दावा है कि रात एक बजे उसे एक इंजेक्शन दिया गया, लेकिन तबीयत में सुधार नहीं हुआ। रात 3:30 बजे जब मां ने जाकर देखा तो वह अचेत थी। परिजनाें ने डॉक्टरों को बताया, लेकिन संतोषजनक जवाब नहीं मिला। परिजन का आरोप है कि डॉक्टर्स ने शुक्रवार सुबह तक उन्हें कोई स्पष्ट जानकारी नहीं दी। सुबह 6 बजे उन्हें बताया गया कि शालू की मौत हो चुकी है। परिजनों का यह भी कहना है कि डॉक्टर्स ने दो घंटे तक सीपीआर देने की बात कही, लेकिन किसी तरह की गंभीर कोशिश उन्हें नजर नहीं आई। शुक्रवार को शालू का पोस्ट मार्टम करवाकर शव परिजनों को सौंप दिया गया है। पुलिस ने कहा है कि पाेस्टमार्टम रिपोर्ट आने व जांच के बाद ही कुछ कह पाना ठीक हो। वहीं जिंदल अस्पताल प्रबंधन से जुड़े आशीष अग्निहोत्री ने व्यस्तता का हवाला देते हुए इस मामले में कुछ भी कहने से इनकार कर दिया।
वहीं इस पूरे घटनाक्रम पर सीएमएचओ डॉक्टर प्रभाकर तिवारी ने कहा है कि मामले की सूचना मिली है, इस घटना से संबंधित जानकारी ली जा रही है, जांच में जो भी सामने आएगा उसके तहत आगे की कार्रवाई तय की जाएगी।
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