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रायपुर । छत्तीसगढ़ में कांग्रेस पार्टी ने जल, जंगल, जमीन और खनिज संसाधनों की रक्षा के लिए एक नई पहल की शुरुआत की है। प्रदेश कांग्रेस कमेटी के तत्वावधान में पीसीसी अध्यक्ष दीपक बैज के नेतृत्व में 'न्याय पदयात्रा' का आयोजन किया गया है, जो आज 26 मई से किरंदुल से प्रारंभ हुई।
यह पदयात्रा कुल 40 किलोमीटर लंबी होगी और 29 मई को दंतेवाड़ा में समापन होगा। अंतिम दिन दंतेवाड़ा कलेक्टर कार्यालय का घेराव कर पदयात्रा को समाप्त किया जाएगा। कांग्रेस नेताओं का कहना है कि यह यात्रा क्षेत्र के आदिवासी और स्थानीय समुदाय के अधिकारों की रक्षा के लिए निकाली जा रही है।
खनिज संपदाएं पूंजीपतियों को सौंपने का विरोध
कांग्रेस का आरोप है कि बस्तर क्षेत्र की चार प्रमुख लौह अयस्क खदानें निजी कंपनियों को सौंप दी गई हैं, जिससे इलाके में अवैध खनन की घटनाएं तेजी से बढ़ रही हैं। इस कदम से आदिवासियों के जल-जंगल-जमीन पर खतरा मंडरा रहा है। दीपक बैज ने कहा कि भविष्य में भी इस तरह के कई मामले सामने आने की आशंका है, जिसे रोकने के लिए यह जनजागरूकता यात्रा निकाली गई है।
जनता को जोड़ने की रणनीति
पदयात्रा का उद्देश्य केवल विरोध नहीं, बल्कि स्थानीय जनता को इस मुद्दे से जोड़कर उनके अधिकारों की रक्षा करना भी है। कांग्रेस इस यात्रा के माध्यम से आदिवासी क्षेत्रों में केंद्र और राज्य सरकार की खनिज नीतियों के खिलाफ एक मजबूत आवाज़ खड़ी करने की कोशिश कर रही है।
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