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बीमारी का पता लगाने पहुंची टीम
मीडिया में यह मामला लगातार उछलने के बाद छत्तीसगढ़ सरकार ने इस बीमारी का पता लगाने के लिए स्वास्थ्य विभाग को निर्देशित किया है. वहीं विभाग की ओर से 16 सदस्यीय टीम बनाकर इन गांवों में सर्वे के लिए भेजा गया है. छत्तीसगढ़ के बीजापुर और नारायणपुर के सीमा से लगते करीब दर्जन भर गांवों में अज्ञात बीमारी का खौफ है. लोग इस कदर दहशत में हैं कि यहां पलायन की स्थिति बन गई है. बीते पांच महीने में ही इस बीमारी की वजह से अब तक 40 ग्रामीणों की मौत हो चुकी है. यह समस्या किसी एक गांव में नहीं, वरन 10 से 12 गांवों में देखी जा रही है. मीडिया में यह मामला लगातार उछलने के बाद छत्तीसगढ़ सरकार ने इस बीमारी का पता लगाने के लिए स्वास्थ्य विभाग को निर्देशित किया है. वहीं विभाग की ओर से 16 सदस्यीय टीम बनाकर इन गांवों में सर्वे के लिए भेजा गया है. इस टीम में तीन डॉक्टरों के अलावा अन्य स्टॉफ शामिल है. डॉक्टरों में दो MBBS हैं, जबकि तीसरे डॉक्टर एमडी मेडिसिन हैं.
जानकारी के मुताबिक यह अज्ञात बीमारी इंद्रावती नदी के किनारे पर बसे गांवों में पायी गई है. अभी तक डॉक्टरों को ना तो इस बीमारी की प्रकृति के बारे में जानकारी मिली है और ना ही उन्हें कोई इलाज समझ में आया है. लेकिन अब राज्य स्तर पर गठित इस टीम को नदी पार इन गांवों में सर्वे के लिए भेजा गया है. यह टीम यहां लोगों का इलाज करने के साथ ही इस बीमारी को भी समझने और इसका कोई स्थाई समाधान ढूंढने का प्रयास करेगी. इसके लिए सर्वे टीम के साथ पैथालॉजी सुविधा उपलब्ध कराई गई है. वहीं मौके पर ही मरीजों के इलाज के लिए आवश्यक दवाइयों व सर्जिकल उपकरण की खेप भी भेजी गई है.
डॉक्टरों के मुताबिक फिलहाल तो मरीजों में लक्षण देखकर दवाई वितरित की जा रही है, लेकिन जैसे ही कुछ सैंपलों की जांच रिपोर्ट आएगी, बीमारी की मूल प्रकृति पता चल जाएगी. इसके बाद इसका स्थाई इलाज किया जा सकेगा. उन्होंने बताया कि अब तक दो दर्जन से अधिक मरीजों के सैंपल जांच के लिए भेज दिए गए हैं. बाकी मरीजों और संभावित मामलों में भी सैंपल लिया जा रहा है. डॉक्टरों के साथ पैथालॉजिस्ट की टीम लगातार इस दिशा में काम कर रही है.
बीजापुर के मुख्य स्वास्थ अधिकारी सुनील भारती ने बताया कि अभी तक इस बीमारी की प्रकृति के बारे में जानकारी नहीं मिली है. इसलिए सर्वे टीम को गांव में सर्वे करने के साथ ही शिविर लगाने के निर्देश दिए गए हैं. इस बीमारी से मृत लोगों के घर वालों के साथ बात करने के अलावा यह टीम नए मरीजों के लक्षणों का अध्ययन करेगी. बताया जा रहा है कि इस समय भी लगभग 8 गांवों में 70 से ज्यादा बीमार हैं. यह टीम इन सभी के घर जा रही है.
MadhyaBharat
26 September 2022
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